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The Faithbook Blog
Panyas Shri Dhananjay Vijayji Maharaj Saheb
Apr 24, 20233 min read
गोडीजी का इतिहास – 4
मेरे प्रभु पारसनाथ आंगन में कल्पवृक्ष पल्लवित होने पर जितना आनन्द प्राप्त नहीं होता, उतना आनन्द आज मेघाशा के हृदय में था। जब से...
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Panyas Shri Dhananjay Vijayji Maharaj Saheb
Apr 15, 20216 min read
Young Mind For Better Change
“Power of Unity” की लेखमाला में हमने इसके पहले के लेखों में ‘UNITY’ के ‘UNIT’ तक के portion को समझ लिया था, जो इस प्रकार था: U =...
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Panyas Shri Dhananjay Vijayji Maharaj Saheb
Apr 11, 20214 min read
संगठन का प्राण : पारदर्शिता
अरिहंत के लोकोत्तर शासन की प्राप्ति को सफल बनाने हेतु ‘संघभावना’ पर निरन्तर रूप से स्वाध्याय करना चाहिए। प्रभु वीर के शासन को ‘संघ’ कहा...
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Panyas Shri Dhananjay Vijayji Maharaj Saheb
Apr 11, 20215 min read
शिकायत नहीं किन्तु सक्रियता
अनन्त भवों में भटकते हुए एकत्रित की गई पुण्यराशि के प्रभाव से हमें लोकोत्तर जिनशासन की प्राप्ति हुई है। इस अद्भुत जिनशासन की प्राप्ति...
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Panyas Shri Dhananjay Vijayji Maharaj Saheb
Apr 11, 20215 min read
Blood Group : See Positive
एक गिलास में थोड़ा पानी डालकर गुरु ने दो शिष्यों को बुलाया, और पूछा कि इसमें क्या दिखता है? एक शिष्य ने कहाँ, ‘गुरुजी! यह गिलास आधा खाली...
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Panyas Shri Dhananjay Vijayji Maharaj Saheb
Apr 10, 20216 min read
समन्वय की शक्ति
किसी एक आश्रम में गुरुजी के दो शिष्य थे। दोनों शिष्यों के मन में एक-दूसरे के लिए अत्यन्त ईर्ष्या-भाव था। छोटी-छोटी बातों को लेकर दोनों...
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Panyas Shri Dhananjay Vijayji Maharaj Saheb
Nov 26, 20204 min read
Power of Unity
Jinshasan was established 2576 years ago by Tirthankar Shri Bhagwan Mahavir. After so many years in the flow of time, we have attained...
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Panyas Shri Dhananjay Vijayji Maharaj Saheb
Nov 26, 20204 min read
Power of Unity
अनन्तज्ञानी तीर्थंकर श्री भगवान महावीर के द्वारा आज से 2576 वर्ष पूर्व जिनशासन की स्थापना की गई थी। समय के प्रवाह में बहते-बहते इतने...
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