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The Faithbook Blog
Gachhadhipati Shri Rajendra Suriji Maharaj Saheb
Apr 35 min read
सायं का भोजन कब करना चाहिए ?
प्राकृतिक चिकित्सालय के अग्रणी श्री लुई कुने ने अपनी पुस्तक ‘आकृति से रोग की पहचान’ में संध्याकालीन भोजन के विषय में विचार प्रगट किए है,...
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Gachhadhipati Shri Rajendra Suriji Maharaj Saheb
Apr 19, 20235 min read
अहिंसा से रक्षा और हिंसा से युद्ध
मानव जीवन का उद्देश्य तो अनाहारी पद प्राप्त करने का है। परन्तु यह तब तक नहीं हो सकता, जब तक अधिक अहिंसा का पालन हों। सात्त्विक जीवन जीने...
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Gachhadhipati Shri Rajendra Suriji Maharaj Saheb
Apr 19, 20234 min read
आहार की श्रेष्ठता
वनस्पति आहार की श्रेष्ठता मनुष्य के लिए मांसाहार की अपेक्षा अधिक प्राकृतिक आहार है। शाकाहार से सहन शक्ति बढ़ती है। आरोग्य की वृद्धि के...
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Gachhadhipati Shri Rajendra Suriji Maharaj Saheb
Feb 28, 20226 min read
आहार से संस्कार
शिक्षण और संस्कार शुद्ध जीवन व्यवहार की दृष्टि से संस्कार की बहुत ही आवश्यकता है। “क्यों आया ?” “कैसे आया ?” “ किस लिए पधारे ?” इन तीनों...
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Gachhadhipati Shri Rajendra Suriji Maharaj Saheb
Oct 30, 20214 min read
Red signal for instant food
इन्स्टन्ट फुड …. पिछले तीन दशकों में तेजी से विकसित इन इन्स्टन्ट पेक्ट्रियों ने बच्चों से लेकर बूढ़ों तक सभी की जरूरत पूर्ण की हैं। स्कूल...
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Gachhadhipati Shri Rajendra Suriji Maharaj Saheb
May 18, 20214 min read
आहार शुद्धि और आरोग्य
हमारे परम हितैषी महर्षियों ने अपनी विशिष्ट बुद्धि शक्ति और वैज्ञानिक प्रतिभा से, सात्त्विक और संस्कारमय जीवन जीने के लिये क्या खाना...
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